सीड्स ऑफ इनोसेंस बांझपन की चिंताओं से करेगा मुक्त, बढ़ाएगा जागरूकता: उपमुख्यमंत्री

-प्राकृतिक रूप से गर्भ धारण, नाकाम दंपत्तियों के लिए आशा की एक नई किरण
-भारत के 8 राज्यों मे 15 सेन्टर वाला प्रमुख आईवीएफ सेन्टर चेन सीड्स ऑफ इनोसेंस ने लखनऊ में अत्याधुनिक आईवीएफ, आनुवंशिक टेस्टिंग और भ्रूण चिकित्सा फैसिलिटी का अनावरण
– आईवीएफ सेन्टर में एक समर्पित जेनेटिक टेस्टिंग (आनुवंशिक परीक्षण) और भ्रूण चिकित्सा विभाग है, जो बहुत ही यूनीक है

लखनऊ/गाजियाबाद। हर एक व्यक्ति तक अंतर्राष्ट्रीय मानक का प्रजनन उपचार उपलब्ध कराने के लिए भारत के 8 राज्यों मे 15 सेन्टर वाले प्रमुख आईवीएफ सेन्टर चेन सीड्स ऑफ इनोसेंस ने उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में अपना पहला और सबसे बड़ा अत्याधुनिक फर्टिलिटी सेंटर (प्रजनन केंद्र) का शुभारंभ किया। इससे प्राकृतिक रूप से गर्भ धारण करने में नाकाम रहने वाले दंपत्तियों को आशा की एक नई किरण मिलेगी। इस सेक्टर में सीड्स ऑफ इनोसेंस की रोडमैप योजना गुणवत्ता कंसल्टेशन और बांझपन का विश्वसनीय इलाज कराने के इच्छुक युवा दंपत्तियों को प्रजनन सम्बंधी सुविधाएं प्रदान करना है। सीड्स ऑफ इनोसेंस का लखनऊ का सेंटर निसंतान दंपत्तियों के लिए मील का पत्थर साबित होगा। यह सेन्टर दूसरे शहरो मे इलाज के लिए भटकने वाले लोगो को उत्तर प्रदेश में ही उनकी समस्या का समाधान देगा। 5/5 पार्क रोड, हजरत गंज, लखनऊ में स्थित सीड्स ऑफ इनोसेंस का फर्टिलिटी सेन्टर दूरदर्शी और प्रसिद्ध आईवीएफ विशेषज्ञ डॉ गौरी अगर्वाल के दिशानिर्देश में स्थापित किया गया। वह सीड्स ऑफ इनोसेंस की सह-संस्थापक भी हैं।

रविवार को उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने यशोदा ग्रुप ऑफ हॉस्पिटल्स, दिल्ली-एनसीआर के चेयरमैन डॉ दिनेश अरोड़ा, दिल्ली-एनसीआर के ग्रुप डॉयरेक्टर डॉ शशि अरोड़ा, दिल्ली-एनसीआर के ग्रुप डॉयरेक्टर डॉ रजत अरोड़ा और सीड्स ऑफ इनोसेंस तथा जेनेस्ट्रिंग डायग्नोस्टिक की को-फाउंडर और डायरेक्टर डॉ गौरी अगर्वाल की उपस्थिति में अत्याधुनिक आईवीएफ, आनुवंशिक टेस्टिंग और भ्रूण चिकित्सा फैसिलिटी सेंटर का उद्घाटन किया।

उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने बांझपान और इसके इलाज के बारे में जागरूकता फैलाने के लिए सीड्स ऑफ इनोसेंस की सराहना करते हुए कहा उत्तर प्रदेश सरकार राज्य के लोगों के स्वास्थ्य को बेहतर करने के लिए प्रतिबद्ध है। सेंटर को चिकित्सा बुनियादी ढांचे और सुविधाओं को विश्वव्यापी मानकों के अनुसार बनाया गया है। यह सेन्टर असिस्टेड रिप्रोडक्टिव टेक्नोलॉजीज, इनफर्टिलिटी ट्रीटमेंट, हाई-रिस्क प्रेग्नेंसी केयर और जेनेटिक टेस्टिंग में माहिर है।
यह अपनी तरह का पहला सेंटर है जो भ्रूण के लिए एडवांस जेनेटिक डायग्नोसिस सुविधाएँ जैसे कि प्रीइम्प्लांटेशन जेनेटिक स्क्रीनिंग (पीजीएस) और प्रीइम्प्लांटेशन जेनेटिक डायग्नोसिस (पीजीडी) आनुवंशिक बीमारियों या डाउन सिंड्रोम, थैलेसीमिया, सिकल सेल, भ्रूण में गुणसूत्र सम्बन्धी बीमारी और इसी तरह के अन्य वंशानुगत आनुवंशिक बीमारी का पता लगाता है।

डॉ गौरी अगर्वाल ने कहा, भारत की कुल प्रजनन दर में गिरावट आई है, इसलिए बांझपन, इसके कारणों और इलाजों के बारे में जागरूकता बढ़ाना महत्वपूर्ण हो गया है। चिकित्सा के क्षेत्र में रिसर्च और टेक्नोलाजी में कई अविष्कार हो रहे हैं। इन अविष्कारों से हमारे देश को लाभ पहुंच सकता है। आज हम सिलोस में आईवीएफ से संपर्क नहीं कर सकते हैं और इसके बजाय एक मल्टी-डिस्प्लीनरी दृष्टिकोण अपनाना चाहिए। आनुवंशिक टेस्टिंग फैसलिटी की जरुरत के अलावा हमने एक भ्रूण कल्याण कार्यक्रम भी शुरू किया है, जो एडवांस आईवीएफ सॉल्यूशन ऑफर करने वाला एक व्यापक सेंटर बन रहा है। सेंटर यूनीक अल्ट्रासाउंड सेवाएं प्रदान करेगा जैसे कि भ्रूण डॉपलर स्कैन और नॉन-स्ट्रेस टेस्ट, भ्रूण इकोकार्डियोग्राफी, और अन्य आनुवंशिक असामान्यताओं और भ्रूण में अनियमित खून का प्रवाह और प्रतिबंधित भ्रूण वृद्धि जैसी सामान्य चिंताओं के खतरे को खत्म करने में मदद करेगा।

यशोदा ग्रुप ऑफ हॉस्पिटल्स, दिल्ली-एनसीआर के ग्रुप डॉयरेक्टर डॉ रजत अरोड़ा ने कहा, सीड्स ऑफ इनोसेंस, नेहरू नगर, गाजियाबाद में स्थित यशोदा सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल ग्रुप की एक शाखा है। इसका उद्देश्य कई तरह के प्रजनन इलाज उपलब्ध कराने के अलावा ज्यादा खतरे वाली गर्भावस्था का अच्छे से देखभाल प्रदान करना है। 2017 में यह देश का पहला आईवीएफ सेंटर था जिसमें इन-हाउस जेनेटिक टेस्टिंग परीक्षण लेबोरेटरी थी। मुझे विश्वास है कि लखनऊ का यह सेंटर सभी प्रकार के बांझपन और खतरे वाले गर्भधारण को संभालने के लिए बेहतर संसाधनों की उपलब्धता सुनिश्चित करेगा। लखनऊ का यह सेंटर इस राज्य में तीसरी ऐसी फैसलिटी है। लखनऊ के अलावा गाजियाबाद में एक और मेरठ में एक सेंटर पहले से चल रहा है। वर्तमान में देश भर में ऐसे 15 से ज्यादा ऐसे सेंटर सीड्स ऑफ इन्नोसेंस द्वारा चलाये जाते हैं।