रील्स बनाने के चक्कर में ना देखी ट्रैन ना सुनी आवाज़, 3 लोगों ने गवाई जान

गाजियाबाद। मसूरी थाना क्षेत्र में देर रात रेलवे ट्रेक पर रील्स बना रहे पति-पत्नी समेत तीन लोगों की पद्मावत एक्सप्रेस ट्रेन से कटकर मौत हो गई। तीनों ट्रैक के बीच में खड़े होकर रील्स बना रहे थे। रील बनाने में इतनी बिजी थे कि उन्हें न तो ट्रेन की आवाज सुनाई दी न ही उसकी रौशनी दिखाई दी। सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।

मसूरी थाना प्रभारी आरसी पंत ने बताया कि रात करीब 9 बजे कल्लूगढ़ी फाटक और डासना स्टेशन के बीच में यह हादसा हुआ। 80 किलोमीटर की स्पीड से पद्मावत एक्सप्रेस गाजियाबाद से मुरादाबाद की तरफ जा रही थी। ट्रेन के लोको पायलट ने स्टेशन को दी गई लिखित सूचना में बताया कि दो युवक और एक युवती ट्रेन की पटरी पर खड़े थे। उनके मोबाइल की फ्लैश लाइट चालू थी। जिससे यह दिखाई दे रहा था कि वह कोई वीडियो शूट कर रहे हैं। पायलट ने कई बार हॉर्न भी दिया, मगर उन्हें हॉर्न सुनाई नही दिया। घटनास्थल से एक व्यक्ति का मोबाइल बरामद हुआ है। मोबाइल की डिस्प्ले स्क्रीन टूटी है। लेकिन मोबाइल काम कर रहा है। पुलिस इसकी फॉरेंसिक जांच कराएगी।

हादसे की सूचना पाकर मृतकों के परिजनों में कोहरात मच गया। मृतकों की पहचान नदीम, पत्नी जनैब और दोस्त शकील के रूप में की है। तीनों ही मसूरी के निवासी थे। नदीम और शकील टैक्सी ड्राइवर थे।

डीसीपी (ग्रामीण) डॉ ईरज राजा ने बताया कि थाना मसूरी पर रेलवे स्टेशन मास्टर से हादसे की जानकारी मिली है, जिसमेंं बताया गया कि तीन लोग एक ट्रेन से टकरा गए। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। मोबाइल को फॉरेंसिक जांच के लिए भेज दिया गया है। जिससे पता चल सकें कि यह हादसा है कि आत्महत्या।

एसीपी आकाश पटेल ने बताया कि नदीम और जैनब मूल रूप से मेरठ के दिसौरा गांव के निवासी थे। करीब 7 माह पूर्व ही दोनों ने लव-मैरिज की थी। जिसके बाद वह कस्बा मसूरी में आकर रहने लगे। नदीम ने अपने दोस्त शकील के साथ ड्राइवरी करना शुरू कर दिया था। नदीम, जैनब और शकील बुधवार दोपहर करीब 2 बजे घर से कहीं जाने के लिए निकले थे। पुलिस इस बिंदु पर जांच कर रही है कि ये तीनों दोपहर 2 से रात के 8 बजे तक कहां-कहां रहे, क्या-क्या किया।