खुशखबरी: कोरोना से जंग जीतेगा भारत, जल्द आएगी स्वदेशी वैक्सीन, इसी साल भारत में लोगों को लगने लगेगा कोरोना वैक्सीन, एक अंग्रेजी अखबार की रिपोर्ट में दावा नागरिकों को निशुल्क टीके लगानेे की योजना बना रही है सरकार 

खुशखबरी: कोरोना से जंग जीतेगा भारत, जल्द आएगी स्वदेशी वैक्सीन, इसी साल भारत में लोगों को लगने लगेगा कोरोना वैक्सीन, एक अंग्रेजी अखबार की रिपोर्ट में दावा नागरिकों को निशुल्क टीके लगानेे की योजना बना रही है सरकार
उदय भूमि ब्यूरो
नई दिल्ली। कोविड-19 (कोरोना वायरस) के प्रकोप और खौफ से दुनिया अब तक उबर नहीं पाई है। कोरोना पॉजिटिव केस और डेथ के आंकड़े दिन-प्रतिदिन बदल रहे हैं। अमेरिका और ब्राजील के बाद भारत में यह वायरस सर्वाधिक नुकसान पहुंचा रहा है। इस सबके बीच कोरोना वैक्सीन के इंतजार की घडिय़ां समाप्त नहीं हो सकी हैं। हालांकि भारत में पहली कोरोना वैक्सीन के लिए अब ज्यादा प्रतीक्षा नहीं करनी पड़ेगी। यदि सब-कुछ ठीक-ठाक रहा तो अगले ढाई माह से भी कम समय में स्वदेश निर्मित वैक्सीन तैयार हो जाएगी। कोविशील्ड नामक इस वैक्सीन को नामचीन सीरम इंस्टीट्यूट कंपनी बना रही है। पुणे में यह कंपनी स्थापित है। खबर है कि राष्ट्रीय टीकाकरण कार्यक्रम के अंतर्गत भारत सरकार प्रत्येक नागरिक को निशुल्क टीके लगवाएगी। सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया के एक सीनियर अफसर के मुताबिक सरकार ने कंपनी को विशेष निर्माण प्राथमिकता लाइसेंस दिया है। इसके बाद ट्रायल प्रोटोकॉल की प्रक्रिया को रफ्तार दी गई है। 2 माह से भी कम समय में ट्रायल पूरा करने की कोशिश हो रही है। अंतिम फेज (तीसरा चरण) में ट्रायल का पहला डोज दे दिया गया है। दूसरा डोज 29 दिनों के बाद दिया जाएगा। अंतिम ट्रायल डेटा दूसरा डोज देने के 15 दिन बाद आएगा। इस अवधि के उपरांत कोविशील्ड को बाजार में लाने की योजना है। 17 केंद्रों पर यह ट्रायल शनिवार से आरंभ किया गया है। प्रत्येक केंद्र पर सौ वालंटियर हैं। वहीं, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने भी कहा है कि कोविड-19 की एक वैक्सीन कैंडिडेट क्लिनिकल ट्रायल के तीसरे चरण में है। इस साल के अंत तक वैक्सीन पूरी तरह से तैयार होने की उम्मीद है। बताया गया है कि कोविड-19 के मद््देनजर केंद्र ने सीरम इंस्टीट्यूट से 68 करोड़ डोज मांगे हैं। इसकी आपूर्ति अगले साल जून तक होनी है। वहीं, सीरम इंस्टीट्यूट प्रतिमाह 6 करोड़ वैक्सीन बनाने की तैयारी में है।