कोरोना का खौफ, सरकारी दफ्तरों की रौनक गायब

गाजियाबाद। कोरोना संक्रमण की तेज होती रफ्तार के कारण सरकारी कार्यालयों में एक बार फिर रौनक गायब होने लगी है। इन कार्यालयों में हलचल पहले से काफी कम हो गई है। कोरोना संक्रमण के डर से अधिकारी एवं कर्मचारी कार्यालय आने से कतरा रहे हैं। ऐसे में सरकारी काम-काज पर प्रतिकूल असर पड़ रहा है। कुछ कार्य भी रूक गए हैं। कोरोना संक्रमण की चपेट में कई अधिकारियों एवं कर्मचारियों के आ जाने के बाद इन कार्यालयों में स्थिति काफी बदल गई है। कलेक्ट्रेट में जहां खुद जिलाधिकारी अजय शंकर पांडेय नहीं आ रहे,वहीं,सीडीओ अस्मिता लाल के अलावा अन्य विभागों में अधिकारी नहीं आ रहे है। कलेक्ट्रेट में शुक्रवार को सिर्फ सिटी मजिस्ट्रेट विपिन कुमार कुछ घंटे अपने कार्यालय में बैठे। इनके अलावा कोई भी एडीएम,एसडीएम से लेकर अन्य विभागों में अधिकारी उपस्थित नहीं हुए। इसके अलावा जीडीए में जीडीए उपाध्यक्ष कृष्णा करूणेश कई दिन से नहीं बैठ रहे,जीडीए में सचिव के अलावा अधिकारियों की संख्या न के बराबर है,जीडीए में कर्मचारियों की संख्या आधे से भी कम रह गई। ऐसा ही हाल नगर निगम का है। नगर आयुक्त महेंद्र सिंह तंवर खुद कैंप कार्यालय से ही कोरोना संक्रमण से बचाव को लेकर पूरी प्लानिंग करते हुए कार्य करा रहे है। नगर निगम मुख्यालय में कोई अधिकारी नहीं बैठ रहा। कर्मचारियों की संख्या इक्का-दुक्का रह गई। पुलिस ऑॅफिस में एसएसपी अमित पाठक नहीं बैठ रहे। वहीं,एसपी भी नहीं बैठ रहे है। पुलिस ऑफिस में पुलिस अधिकारियों से लेकर पुलिसकर्मियों की संख्या आधे से भी कम रह गई है। इनके अलावा आरटीओ कार्यालय,पीडब्ल्यूडी, सिंचाई विभाग,उद्यान विभाग,कृषि विभाग,जिला पंचायत राज अधिकारी कार्यालय,निर्वाचन विभाग समेत अन्य कार्यालयों में सन्नाटा पसरा रहने लगा हैं। कोरोना संक्रमण की वजह से अब अधिकारी और कर्मचारियों का सरकारी कार्यालयों में आना बंद हो गया है। हालात यह हो गए है कि जहां विकास कार्य ठप पड़ गए है। वहीं,नई योजनाओं पर काम नहीं हो पा रहा है।जिले में गुरूवार को रिकॉर्डतोड़ 1023 कोरोना सक्रमित मरीजों के मिलने के बाद अब सरकारी कार्यालयों में सन्नाटा पसरा रहने लगा है। कई विभागों में अधिकारियों से लेकर दर्जनों की संख्या में कर्मचारी कोरोना संक्रमित हो गए है।