अतिक्रमण के खिलाफ ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण सख्त, 5 अफसरों को जिम्मेदारी

ग्रेटर नोएडा। अतिक्रमण कर्ताओं से निपटने के लिए ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण और ज्यादा गंभीर नजर आ रहा है। अतिक्रमण के खिलाफ प्रभावी कार्रवाई के लिए मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) सुरेंद्र सिंह ने गंभीरता दिखाई है। सीईओ ने ग्रेनो प्राधिकरण के तीनों एसीईओ व दोनों ओएसडी अतिक्रमण पर ठोस कार्रवाई करने की जिम्मेदारी दी है। सीईओ ने साफ शब्दों में चेतावनी दी है कि प्राधिकरण के अधिसूचित क्षेत्र में अतिक्रमण होने पर संबंधित वर्क सर्किल इंजीनियरों की जवाबदेही तय की जाएगी। यानी इंजीनियरों को लापरवाही का खामियाजा भुगतना पड़ेगा।

ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ व मेरठ मंडलायुक्त सुरेन्द्र सिंह ने अपने अधीनस्थों के साथ बैठक कर अतिक्रमण के खिलाफ अभियान को और प्रभावी बनाने के निर्देश दिए। सीईओ ने ध्वस्तीकरण की कार्रवाई की निगरानी के लिए पांच वरिष्ठ अधिकारियों की दिनवार सप्ताहिक ड्यूटी लगा दी है। हर सोमवार को एसीईओ अदिति सिंह अतिक्रमण को हटाने की कार्रवाई की मॉनिटरिंग करेंगी। हर मंगलवार को एसीईओ दीप चंद्र, हर बुधवार को एसीईओ अमनदीप डुली, हर बृहस्पतिवार को ओएसडी सौम्य श्रीवास्तव व हर शुक्रवार को ओएसडी सचिन कुमार सिंह अतिक्रमण की कार्रवाई की मॉनिटरिंग करेंगे।

अतिक्रमण हटाने के लिए जरूरी संसाधनों  के इंतजाम की जिम्मेदारी भी इन अधिकारियों पर होगी। बैठक में सीईओ ने निर्देश दिए कि प्राधिकरण द्वारा अर्जित भूमि, जिसमें भू-स्वामियों द्वारा प्रतिकर, आबादी का प्लॉट सहित सभी लाभ लेने के बावजूद भी अवैध कब्जा किया है तो उसे तत्काल हटाएं। फील्ड में घूमकर अतिक्रमण वाले जगहों को चिंहित कर लें। उसे जगह-जगह प्रदर्शित करें। अतिक्रमण रोकने के लिए वन मैप ग्रेटर नोएडा पर उपलब्ध डाटा का भी इस्तेमाल किया जा सकता है। सीईओ ने कहा कि शाहबेरी जैसी घटना भविष्य में न हो,  इसके लिए अवैध निर्माण करने वालों के खिलाफ नियमानुसार सख्त कार्रवाई करें। उन्होंने प्राधिकरण की अर्जित, कब्जा प्राप्त व एलएमसी की जमीन पर अतिक्रमण करने वालों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करा कर जेल भेजने के निर्देश दिए।