Pollution गाजियाबाद हुआ जहरीला, दीपावली के बाद एक बार फिर से प्रदूषण ने बनाया बदनाम रिकॉर्ड

Pollution – प्रदूषण बम दीपावली पर दिल्ली-एनसीआर में फूटा। गाजियाबाद और नोएडा की आबोहवा भी बेहद जहरीली हो गई। ऐसे में नागरिकों को सांस लेने में तकलीफ भी हुई। दिल्ली-एनसीआर में प्रदूषण ( Pollution )के कारण धुंध छाई रही। आसमान में धुंध को साफ देखा जा सकता था। उधर, भारत मौसम विज्ञान विभाग के उप महाप्रबंधक (डीजीएम) आर.के. जेनामनी ने माना कि दीपावली पर्व पर बम-पटाखे छोड़े जाने और एनसीआर में बायोमास प्रदूषकों ( Pollution ) की उपस्थिति के बाद शुक्रवार को वायु गुणवत्ता गंभीर श्रेणी में पहुंच गई।

दिल्ली/गाजियाबाद। दीपावली पर्व पर आखिर जिस बात की आशंका थी, वह सच साबित हो गई। दीपावली पर जमकर आतिशबाजी किए जाने के चिंताजनक परिणाम सामने आ गए हैं। दिल्ली-एनसीआर में शुक्रवार को वायु गुणवत्ता सूचकांक बेहद खराब श्रेणी में दर्ज किया गया। गाजियाबाद और नोएडा की आबोहवा भी बेहद जहरीली हो गई। ऐसे में नागरिकों को सांस लेने में तकलीफ भी हुई। दिल्ली-एनसीआर में प्रदूषण के कारण धुंध छाई रही। आसमान में धुंध को साफ देखा जा सकता था। उधर, भारत मौसम विज्ञान विभाग के उप महाप्रबंधक (डीजीएम) आर.के. जेनामनी ने माना कि दीपावली पर्व पर बम-पटाखे छोड़े जाने और एनसीआर में बायोमास प्रदूषकों ( Pollution ) की उपस्थिति के बाद शुक्रवार को वायु गुणवत्ता गंभीर श्रेणी में पहुंच गई। उन्होंने बताया कि दिल्ली में अदक स्तर 550-530 से ज्यादा है। यह गंभीर स्थिति में माना जाता है। दीपावली पर्व पर अतिशबाजी छोड़ जाने और बायो-मास प्रदूषकों की मौजूदगी के बाद समग्र वायु गुणवत्ता गंभीर श्रेणी में है। यह चिंता का कारण है। हवा की गति बढ़ने के बाद हवा की गुणवत्ता और कोहरे की स्थिति में सुधार हो सकेगा। मौसम विभाग का कहना है कि हवा और उच्च नमी कोहरे की स्थिति उत्पन्न नहीं कर रही है। दिल्ली में हवा की रफ्तार शनिवार तक बढ़ने की संभावना है। मौसम विभाग के अनुमान के मुताबिक अगले 10 दिन तक बारिश नहीं होगी। वहीं, गाजियाबाद और नोएडा की स्थिति भी कमोवेश एक-जैसी रही। दोनों जनपदों में गुरुवार की देर रात तक आतिशबाजी की गई थी। इसके चलते शुक्रवार को वायु प्रदूषण ( Pollution ) का स्तर चिंताजनक श्रेणी में पहुंच गया। गाजियाबाद में विभिन्न स्थानों पर प्रदूषण की मार से नागरिकों की हालत खराब रही। बता दें कि गाजियाबाद में बम-पटाखे छोड़ने की इजाजत नहीं थी। इसके बावजूद नागरिक नहीं माने। प्रशासनिक आदेश को धता बताकर खूब धूम-धड़ाका किया गया।

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दीपावली पर खूब फूटे पटाखे
गाजियाबाद शहर में दीपावली की रात प्रतिबंध के बावजूद खूब पटाखे छोड़े गए। नागरिकों में पर्यावरण को लेकर किसी प्रकार की चिंता देखने को नहीं मिली। सुप्रीम कोर्ट और एनजीटी ने आतिशबाजी पर रोक लगा रखी थी। इसके बाद भी नागरिक नहीं माने। उन्होंने दीपावली की रात जमकर आतिशबाजी की। शहर में जमकर की गई आतिशबाजी के कारण जगह-जगह धुआं फैला नजर आया। इसके चलते नागरिकों को भी सांस लेने में परेशानी हुई। इसके अलावा सांस रोगियों की हालत ज्यादा खराब रही।

रोक थी फिर कहां से मिले पटाखे
शहर में पटाखों की बिक्री और इस्तेमाल करने पर सरकारी प्रतिबंध था। इसके बावजूद विभिन्न बाजारों में खुलेआम पटाखों की बिक्री होती रही। पुलिस प्रशासन की ओर से कोई रोकटोक नहीं की गई। रातभर पटाखों की तेज आवाज से नागरिक परेशान रहे। आरडीसरी-राजनगर, किराना मंडी, चौपला मंदिर, घंटाघर, बजरिया, नंदग्राम, पुराना विजय नगर, राकेश मार्ग, गोविंदपुरम, पंचवटी कॉलोनी के अलावा हिंडन पार क्षेत्र की विभिन्न कॉलोनियों में पटाखे बिकते रहे। खासकर तेज आवाज वाले पटाखे दगते रहे।

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इन इलाकों में रात 12 बजे के बाद भी फूटे पटाखे
शहर में विजय नगर, शालीमार गार्डन, खोड़ा कॉलोनी, नंदग्राम, तुराबनगर, लालकुआं, संजय नगर, साहिबाबाद, मालीवाड़ा, जटवाड़ा, बसंत रोड, लोनी, भोपुरा, डीएलएफ, लाजपत नगर, ब्रिज विहार, सूर्यनगर आदि में रात 12 बजे के बाद भी पटाखों की आवाज कानों में सुनाई देती रही।

गाजियाबाद की हवा जहरीली और खतरनाक
गाजियाबाद शहर में रात में वायु गुणवत्ता सूचकांक रात में 465 रहा। शहर में वायु गुणवत्ता सूचकांत औसत 465 दर्ज किया गया। जबकि लोनी में यह 500 तक जा पहुंचा था। इसके अलावा वसुंधरा और इंदिरापुरम में भी एआईक्यू की श्रेणी काफी खतरनाक स्तर पर दर्ज की गई। इसके चलते देश में प्रदूषण ( Pollution ) के मामले में गाजियाबाद ने दूसरा स्थान हासिल किय।

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