रितु माहेश्वरी ने ऑस्ट्रेलिया में पेश किया नोएडा और ग्रेटर नोएडा का डेवलपमेंट मॉडल प्रवासी भारतीय और ऑस्ट्रेलियाई उद्यमियोें को उत्तर प्रदेश में निवेश के लिए किया आमंत्रित

10 फरवरी से लखनऊ में ‘यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट’ का आयोजन होगा। इन्वेस्टर्स समिट में दुनिया भर के उद्योगपतियों, बैंकों, बिजनेस घरानों और कारोबारियों को बुलाने के लिए राज्य सरकार का बड़ा प्रतिनिधिमंडल विदेश दौरे पर है। नोएडा और ग्रेटर नोएडा की मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) रितु माहेश्वरी ऑस्ट्रेलिया गई हैं। ऑस्ट्रेलिया में प्रवासी भारतीय और ऑस्ट्रेलियाई उद्यमियोें के सामने उन्होंने नोएडा व ग्रेटर नोएडा का डेवलपमेंट मॉडल पेश किया है। रितु माहेश्वरी ने आस्ट्रेलिया में प्रवासी भारतीय और ऑस्ट्रेलियाई उद्यमियों के साथ बैठक कर उन्हें उत्तर प्रदेश में निवेश के लिए आमंत्रित किया।
उदय भूमि ब्यूरो
नोएडा।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ राज्य को ‘वन ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर’ के बराबर वाली अर्थव्यवस्था बनाना चाहते हैं। इसके लिए अगले साल 10 फरवरी से लखनऊ में ‘यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट’ का आयोजन होगा। इस समिट में दुनिया भर के उद्योगपतियों, बैंकों, बिजनेस घरानों और कारोबारियों को बुलाने के लिए राज्य सरकार का बड़ा प्रतिनिधिमंडल विदेश दौरे पर है। नोएडा और ग्रेटर नोएडा की मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) रितु माहेश्वरी भी ऑस्ट्रेलिया गई हैं। ऑस्ट्रेलिया में प्रवासी भारतीय उद्योगपतियों और और ऑस्ट्रेलियाई उद्यमियोें के सामने उन्होंने नोएडा व ग्रेटर नोएडा का डेवलपमेंट मॉडल पेश किया। रितु माहेश्वरी ने प्रवासी भारतीय और ऑस्ट्रेलियाई उद्यमियों के साथ बैठक कर उन्हें उत्तर प्रदेश में निवेश के लिए आमंत्रित किया।
रितु माहेश्वरी की गिनती उत्तर प्रदेश के तेज-तर्रार रिजल्ट ओरिएंटेड अधिकारियों में होती है। कानपुर में केस्को और गाजियाबाद में जीडीए की बदहाल और बेपटरी हुई व्यवस्था को संभालने की चुनौती रितु माहेश्वरी को मिली थी। कम समय में ही रितु माहेश्वरी ने इन दोनों संस्थानों को मजबूती से खड़ा। डीएम के रूप में भी रितु माहेश्वरी के कार्यकाल को आम जनता ने खूब सराहा है। वर्तमान में नोएडा और ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ के रूप में उन पर प्रदेश में अधिक से अधिक औद्योगिक निवेश लाने की जिम्मेदारी है। यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में पहले सरकार ने 10 लाख करोड़ का निवेश लाने का लक्ष्य रखा गया था, लेकिन अब इसे बढ़ाकर 15 लाख करोड़ कर दिया है। ऐसे में रितु माहेश्वरी द्वारा इस बात पर फोकस किया जा रहा है कि नोएडा और ग्रेटर नोएडा क्षेत्र में अधिक से अधिक औद्योगिक निवेश हो।
ऑस्ट्रेलिया के प्रवासी भारतीयों और ऑस्ट्रेलियाई  कंपनियों के सीईओ को संबोधित करते हुए रितु माहेश्वरी ने उनसे नोएडा-ग्रेटर नोएडा क्षेत्र में निवेश करने का आह्वान किया है। ऑस्ट्रेलिया-इंडिया बिजनेस काउंसिल द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम में ऑस्ट्रेलिया कंपनियों के प्रमुख अधिकारी और कॉरपोरेट जगत के दिग्गज लोग शामिल हुए। रितु माहेश्वरी ने नोएडा और ग्रेटर नोएडा समेत पूरे उत्तर प्रदेश में ऑस्ट्रेलिया के निवेश की अपील की। इस दौरान उन्होंने नोएडा और ग्रेटर नोएडा के डेवलपमेंट मॉडल और सरकार द्वारा उद्यमियों को दी जाने वाली सुविधाओं एवं छूट को लेकर एक प्रेजेंटेशन भी दिया।
जल संसाधन मंत्री स्वतंत्र देव सिंह भी रहे मौजूद
नोएडा एवं ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की सीईओ रितु माहेश्वरी और उत्तर प्रदेश राज्य औद्योगिक विकास प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी मयूर माहेश्वरी जल संसाधन मंत्री स्वतंत्र देव सिंह की अगुवाई वाले प्रतिनिधिमंडल में  ऑस्ट्रेलिया गए हैं। विदित हो कि यूपी में विदेशी निवेश बढ़ाने के लिए योगी आदित्यनाथ ने 10 मंत्रियों और 42 अफसरों के 8 अलग-अलग प्रतिनिधिमंडल को विदेश दौरे पर भेजे हैं। प्रतिनिधिमंडल 18 दिसंबर तक दुनिया के 20 प्रमुख शहरों में रोड शो करेंगे और वहां के उद्योगपतियों को लखनऊ आने का निमंत्रण देंगे।
बेल्जियम में नंदी और जितिन प्रसाद उद्योगपतियों से मिले
दूसरी तरफ विदेशी निवेशकों को आमंत्रित करने के लिए दौरे पर निकले उत्तर प्रदेश सरकार के औद्योगिक विकास मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी और लोक निर्माण मंत्री जितिन प्रसाद बेल्जियम पहुंच गए हैं। इन लोगों ने सोमवार को ब्रुसेल्स में निवेशकों से मुलाकात की है। उन्हें निवेश के लिए उत्तर प्रदेश आमंत्रित किया है। उन्होंने उत्तर प्रदेश में व्यापारिक पार्टनरशिप के साथ ही बुनियादी ढांचा परियोजनाओं के लिए सहयोग पर चर्चा की। ब्रुसेल्स में एशिया और पेसिफिक डिवीजन के प्रबंध निदेशक एडवर्डस बुमस्टीनस और प्रतिष्ठित समूहों को यूपीजीआईएस-2023 के लिए आमंत्रित किया। खास बात यह कि यूपी के डेलिगेशन ने जेवर में बन रहे नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट को बड़े ब्रांड के रूप में पेश किया है। नंदी और प्रसाद की अगुवाई वाला प्रतिनिधिमंडल जर्मनी के बाद बेल्जियम पहुंचा है।