शहर में आतंक मचाने वाला ओये लकी गैंग गिरफ्तार

ओये लकी फिल्म की तर्ज पर सूट-बूट पहनकर चोरी की वारदात को देते थे अंजाम

सुनार समेत चार शातिर चोर गिरफ्तार

गाजियाबाद। दिल्ली-एनसीआर में बंद मकानों व फ्लैटों को खंगालकर माल उड़ाने चोरी की वारदातों को अंजाम देकर शहर में दहशत का माहौल और पुलिस को छंकाने वाले ऐसे गिरोह के सुनार समेत चार शातिर चोरों को कविनगर पुलिस ने ओये लकी गैंग का खुलासा किया है। आरोपित ओये लकी फिल्म की तर्ज पर क्षेत्र में चोरी की वारदात को अंजाम देकर शहर में दहशत का माहौल बनाया हुआ था। जिनके कब्जे से लाखों रूपए का चोरी का माल और घटना में प्रयुक्त कार बरामद किया। बुधवार को एसपी सिटी प्रथम अभिषेक वर्मा ने कविनगर थाने मे घटना का खुलासा करते हुए बताया कि बुधवार तड़के एसआई नरपाल सिंह, सुमित कुमार साईबर सेल ने संयुक्त रूप से मुखबिर की सूचना पर लाल कुआं के पास से आरिफ उर्फ कल्लू पुत्र इब्राहित निवासी काजी बाडा सिंकदर गेट हापुड, ताज मोहम्मद पुत्र इलियास निवासी समयपुर मेरठ, मुरसलीम उर्फ छोटे पुत्र इलियास निवासी मेरठ, मुरसलीम उर्फ छोटे पुुत्र फय्याज निवासी हापुड और सुनार पुनीत वर्मा पुऋ ब्रजकिशोर निवासी प्रवेश विहार मेडिकल मेरठ को चोरी की योजना बनाते समय गिरफ्तार किया। जिनके पास से होंडा सिविक व आई-10 कार, 1 लाख, 87 हजार कैश, 4 सोने की चूडिय़ां, 2 सोने के कंगन, 6 सोने की अंगुठी, 2 सोने के कुंडल, 2 नथ फूल सोने के, 1 चेन सोने की, एक लॉकेट सोने का, 2 चांदी के भारी कड़े और कई जोड़ी चांदी की पाजेब के अलावा अन्य कीमती सामान व चोरी की वारदात के दौरान प्रयुक्त किये जाने वाले उपकरण बरामद हुए। साथ ही गाजियाबाद, नोएडा, फरीदाबाद और दिल्ली सहित कई अन्य शहरों/महानगरों में इस गैंग सौ से अधिक वारदातों को अंजाम दे चुके है। एसपी सिटी ने बताया आरिफ गैंग का सरगना व हापुड़ कोतवाली का हिस्ट्रीशीटर है। जबकि पुनीत सुनार है, जो चोरी के जेवर खरीदता था। साथ ही गैंग के सदस्यों को अपने यहां शरण भी देता था। गैंग ने गाजियाबाद, मेरठ, दिल्ली, हापुड़, फरीदाबाद और गुरुग्राम में 100 से अधिक वारदातों को अंजाम दिया है। गिरफ्तार सभी आरोपी हाल ही में डासना जेल से रिहा हुए थे। जेल में ही सरगना आरिफ की मुरसलीन से दोस्ती हुई थी। जेल से बाहर आने के बाद उन्होंने गैंग बनाया और चोरी की ताबड़तोड़ घटनाएं शुरू कर दीं। गैंग ने भाई दूज पर कविनगर के महरौली इलाके में चोरी की तीन घटनाएं की थीं। इसके अलावा 28 नवंबर की रात को इंदिरापुरम के अपेक्स टावर के एक फ्लैट से लाखों रुपये के माल व स्मार्ट वाच चुराई थी। पकड़े जाने के डर से बदमाश घड़ी को गंगनहर में फेंक गए थे। सुनार पुनीत वर्मा बीटेक पास है। वह हापुड़ में ज्वेलरी शॉप चलाता है। इसके अलावा तीनों आरोपी कम पढ़े-लिखे हैं। पुनीत चोरों से सस्ते दामों में माल लेकर आगे बेचता था। किसी भी वारदात के बाद गैंग के सदस्य पुनीत के यहां पर ही शरण लेते थे। वहीं से दूसरे गिरोह को टारगेट कर वारदात की योजना बना लेते थे। 27/28 को इस गैंग ने इंदिरापुरम थाना क्षेत्र की हाईटैक सोसायटी में बंद पड़े फ्लैट को निशाना बनाते हुए वहां से लाखों के माल पर हाथ साफ कर लिया था। पूछताछ के दौरान कुख्यात चोर एवं कई गैंग का सरगना रह चुका कल्लू आज से 25 साल पहले वैल्डिंग का कार्य करके अपने परिवार की गुजर-बसर करता था। कल्लू की मानें तो कारोबार में घाटा हो जाने पर वह इधर से उधर भटकने लगा था। उसी समय उसे दो शातिर बदमाश शकील व रियाज मिले। कल्लू ने बताया कि उसके बाद वो दोनों अलग-अलग समय में उसके उस्ताद बन गये। जिसके बाद वह चोरी करने लगा और कुछ ही दिनों में उसने अपना गैंग बना लिया। कल्लू कितना शातिर दिमाग है, इसका अंदाजा इस बात से ही लगाया जा सकता है कि कल्लू पुलिस की गिरफ्त में आने से बचने के लिये न केवल अपने गैंग के पुराने सदस्यों को बदलकर नये अपराधियों को अपने गैंग में भर्ती कर लेता है बल्कि ऐसी वस्तुओं को चुराने के बाद भी अपने पास नहीं रखकर नदी-नालों में फेंक देता है जिसमें चिप अथवा सेंसर लगे होते हैं।