नबी के यौम पैदाईश पर खुशियां मनाना ईमानी फर्ज है: सुब्हानी मियां

कोविड-19 की गाइड लाइन का पालन करते हुए मनाएं ईदमिलादुन्नबी

सादगी और सीमित संख्या ही के साथ निकेलगा जुलूस

बरेली। ईद मिलादुन्नबी के मौके पर निकलने वाले जुलूस-ए-मोहम्मदी को लेकर डीएम नीतीश कुमार की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में दरगाह प्रमुख हजऱत मौलाना सुब्हान रज़ा खान (सुब्हानी मियां) की ओर से मुफ़्ती सलीम नूरी के नेतृत्व में प्रतिनिधिमण्डल, अंजुमन खुद्दामें रसूल व अंजुमन इत्तेहाद ए मुस्लेमीन के ओहदेदारान शामिल रहे। सभी की राय से तय किया गया कि कोविड 19 की गाइड लाइन के मुताबिक जुलूस का आयोजन किया जाए। सबसे पहले मुफ्ती सलीम नूरी ने दरगाह प्रमुख हजरत मौलाना सुब्हानी मियां की ओर से जि़ला इन्तेज़ामिया का उर्स में सहयोग के लिए शुक्रिया अदा किया। इसके बाद मुफ्ती सलीम नूरी व हाजी जावेद खान ने जुलूस की रूपरेखा रखी । प्रस्ताव दिया कि इस बार जुलूस की रिवायत भी कायम रहे और कोविड 19 का पालन करते हुए जुलूस पैदल न निकाल कर इस बार कारो व मोटरसाइकिल शामिल हो जिसमें उलेमा, अंजुमन खुद्दाम ए रसूल व दरगाह के ओहदेदारान शामिल रहे । आखिर में जिलाधिकारी, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक व दरगाह के जि़म्मेदारान ने तय किया कि जुलूस में 25 कारे वो शामिल रहेगी। जिनको दरगाह की ओर से पास जारी किया जाएगा। जुलूस में सबसे आगे परचम चलेगा उसके पीछे दरगाह प्रमुख हजरत मौलाना सुब्हानी मियां साहब व सज्जादानशीन मुफ्ती अहसन रजा कादरी अहसन मियां चलेंगे।
नासिर कुरैशी ने बताया कि बाकी शहर भर की सभी अंजुमनों व अकीदतमंदों से दरगाह प्रमुख हजऱत मौलाना सुब्हान रज़ा खान (सुब्हानी मियां) ने अपील की कि लोग अपने अपने घरों में नबी ए करीम के आमद का जश्न मनाये घरों को सजाए। कुरानख्वानी व मिलाद की महफि़ल सजाए। गरीबों व मिस्कीनो का खास खयाल रखें। जुलूस में सिर्फ वहीं लोग शामिल हो जिन्हें दरगाह व अंजुमन खुद्दामें रसूल द्वारा पास जारी किया जाए।