किसान आंदोलन पर चुभी अमिताभ बच्चन की चुप्पी

तरूण मिश्र ने महाराष्ट्र के राज्यपाल से मुलाकात की

मुंबई। अखिल भारतवर्षीय ब्राह्मण महासभा के राष्ट्रीय महामंत्री तरूण मिश्र ने महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी से मुंबई के राज भवन में मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने महाराष्ट्र में पिछले कुछ समय में हुई साधु-संतों की हत्या और किसान आंदोलन पर चर्चा की। ब्राह्मण महासभा के राष्ट्रीय महामंत्री तरूण मिश्र ने बताया कि राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के साथ देश में जगह-जगह जारी किसान आंदोलन और ब्राह्मण समाज पर हमलों के संदर्भ में चर्चा की गई। उन्होंने कहा कि ब्राह्मण का मतलब सिर्फ पुजारी नहीं है। ब्राह्मण समाज की आबादी काफी अधिक है। देश में रिसर्च के आधार पर यह साबित हो सकता है कि ब्राह्मण समाज से ज्यादा विद्वान कोई और नहीं है।

इस समाज को भी सुख एवं शांति से जीने का अधिकार है। उन्होंने कहा कि जरा-जरा सी चीजों पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को 100-200 तक चिट्ठी भेज दी जाती हैं, मगर ब्राह्मण समाज की स्थिति पर कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है। यह बेहद चिंताजनक पहलू है। देश में संवैधानिक पदों पर आसीन व्यक्तियों को भी इस पर ध्यान देने की जरूरत है। नए कृषि कानूनों के खिलाफ कुछ राजनीतिक दल किसानों को भड़का रहे हैं। किसानों को यह बताया जा रहा है कि नए कानून उनके हित में नहीं हैं। जबकि ऐसा नहीं है। भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैट ने ब्राह्मण समाज के खिलाफ विवादित बयान दिया था, मगर किसी राजनीतिक दल या उनके किसी नुमाइंदे ने इसकी आलोचना नहीं की। उन्होंने कहा कि सदी के महानायक अमिताभ बच्चन ने भी किसानों को लेकर कोई टिप्पणी नहीं की है। उन्होंने सवाल उठाया कि क्या अभिताभ बच्चन सिर्फ बॉलीवुड के मामलों से ही सरोकार रखते हैं! उन्होंने कहा कि मेरा ऐसा मानना है कि बच्चन साहब विश्व के सर्वमान्य अभिनेता हैं। वह किसी भी पॉलिटिकल पार्टी से ऊपर हैं और उनकी कही गई बातों से समाज पर प्रभाव पड़ता है, ऐसा कोरोना काल में देखा गया है। अत: बच्चन साहब को भी इस मामले में अपनी राय रखनी चाहिए थी।