मेयर के आरोप गलत म्युनिसिपल कमिश्नर ने सभी आरोपों पर दिया जवाब बोले जो भी फाइल चाहिए वह उपलब्ध कराई जाएगी

विदित हो कि बुधवार को मेयर सुनीता दयाल ने प्रेसवार्ता में नगर निगम की कार्यशैली और अधिकारियों के आचरण को लेकर कई गंभीर सवाल उठाये थे। मेयर ने नगर निगम अधिकारियों पर गंभीर आरोप लगाते हुए 10 बिंदुओं को उठाया था। आरोपों को तथ्यहीन और निराधार बताते हुए म्युनिसिपल कमिश्नर विक्रमादित्य सिंह मलिक ने सभी आरोपों पर बिंदुवार जवाब दिया। म्युनिसिपल कमिश्नर ने कहा कि मेयर नगर निगम की मुखिया (हेड ऑफ द डिपाटमेंट) हैं। ऐसे में मेयर को फाइलें उपलब्ध नहीं कराये जाने की बात गलत हैं। मेयर द्वारा उन्हें इस बारे में कुछ नहीं कहा गया है। मीडिया के माध्यम से उन तक यह बातें पहुंची है। इस पर मैं यही कहना चाहता हूं कि मेयर को जो भी फाइलें चाहिये वह मेरे माध्यम से मंगवा सकती हैं।

उदय भूमि ब्यूरो
गाजियाबाद। मेयर सुनीता दयाल द्वारा नगर निगम अधिकारियों पर लगाए गए आरोपों को तथ्यहीन और निराधार बताते हुए म्युनिसिपल कमिश्नर विक्रमादित्य सिंह मलिक ने सभी आरोपों पर बिंदुवार जवाब दिया। म्युनिसिपल कमिश्नर ने कहा कि मेयर नगर निगम की मुखिया (हेड ऑफ द डिपाटमेंट) हैं। ऐसे में मेयर को फाइलें उपलब्ध नहीं कराये जाने की बात गलत हैं। मेयर द्वारा उन्हें इस बारे में कुछ नहीं कहा गया है। मीडिया के माध्यम से उन तक यह बातें पहुंची है। इस पर मैं यही कहना चाहता हूं कि मेयर को जो भी फाइलें चाहिये वह मेरे माध्यम से मंगवा सकती हैं। इससे फाइलों से पत्रावली गायब होने जैसी बात भी नहीं आएगी और सभी फाइलें रिकार्ड में चढ़ाकर मेयर तक भेंजी जायेगी। मेयर द्वारा वाहनों की खरीद बिक्री से संबंधित आरोपों को लेकर म्युनिसिपल कमिश्नर ने कहा कि यह आरोप गलत है। गाजियाबाद में खरीदे गये वाहनों की कीमत अन्य जगहों पर की गई खरीदारी से कम दर पर ही की गई है। मेयर को सवाल पूछने का अधिकार है। लेकिन उन्हें भी तथ्यों की जानकारी कर लेनी चाहिये।

विदित हो कि बुधवार को मेयर सुनीता दयाल ने प्रेसवार्ता में नगर निगम की कार्यशैली और अधिकारियों के आचरण को लेकर कई गंभीर सवाल उठाये थे। मेयर ने नगर निगम अधिकारियों पर गंभीर आरोप लगाते हुए 10 बिंदुओं को उठाया था। इसमें सोसाइटियों से कूड़ा निस्तारण, इडस्ट्रियल एरिया से कूड़ों का उठान, कविनगर थाने में खराब पड़ी रोड स्वीपिंग मशीन, रोड पैचिंग मशीन की अधिक कीमत पर खरीददारी, सड़कों पर गड्ढ़ा भरे जाने में अनियमितता, अधिकारियों द्वारा फाइलें उपलब्ध नहीं कराने और फाइलों से पत्रावली गायब कर देने का मुद्दा प्रमुख है। मेयर ने कड़े शब्दों का प्रयोग करते हुए कहा था कि निगम अधिकारी उनके साथ सहयोग नहीं करते हैं। जब भी कोई जानकारी मांगी जाती है तो आधी-अधूरी जानकारी दी जाती है। अधिकारी अपने कुछ खास लोगों को फायदा पहुंचाने के लिए मनमानी कर रहे हैं। मेयर ने नगर निगम में भ्रष्टाचार का आरोप लगाया है।

मेयर सुनीता दयाल के इन्हीं आरोपों को लेकर उदय भूमि संवाददाता ने म्युनिसिपल कमिश्नर विक्रमादित्य सिंह मलिक से जवाब मांगा। म्युनिसिपल कमिश्नर ने सभी आरोपों का बिंदुवार जवाब दिया। म्युनिसिपल कमिश्नर ने तथ्यों के साथ सभी आरोपों को निराधार बताते हुए कहा कि यदि मेयर को जो भी फाइल चाहिए वह उपलब्ध कराई जाएगी। ज्ञात हो कि विक्रमादित्य सिंह मलिक को गाजियाबाद के म्युनिसिपल कमिश्नर का चार्ज संभाले हुए अभी एक महीना भी पूरा नहीं हुआ है। ऐसे में मेयर द्वारा लगाये गये इन आरोपों से इस बात को बल मिलता है कि गाजियाबाद नगर निगम में सबकुछ ठीक-ठाक नहीं चल रहा है। पूर्व म्युनिसिपल कमिश्नर डॉ. नितिन गौड़ और मेयर सुनीता दयाल के बीच भी लंबे अर्से तक कोल्ड वॉर चला था। ऐसे में देखना होगा कि आगे विवाद और कितना आगे बढ़ता है या फिर इस विवाद का किस तरह से निपटारा होता है।