नगर आयुक्त ने जीआईएस सर्वे कंपनी अधिकारियों के कसे पेंच

-संपत्तियों का पूरा नहीं किया सर्वे, फर्म स्पष्ट करें कारण: विक्रमादित्य सिंह मलिक

गाजियाबाद। नगर निगम द्वारा नए क्षेत्रों एवं छूटी हुई संपत्तियों पर हाउस टैक्स आरोपित करने के लिए निगम सीमा क्षेत्र में मैसर्स यूनिकॉप्स फर्म से कराए जा रहे ज्योग्राफिकल इंफोरमेशन सिस्टम (जीआईएस) का चार साल बाद भी कंपनी पूरा नहीं कर पाई। गुरूवार को नगर आयुक्त विक्रमादित्य सिंह मलिक ने कैंप कार्यालय पर फर्म और निगम के टैक्स विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक कर फर्म से सर्वे का कार्य पूरा नहीं किए जाने पर कारण स्पष्ट करने के निर्देश दिए।नगर आयुक्त ने कंपनी पर शिकंजा कसते हुए कहा कि कार्य में हीलाहवाली बर्दाश्त नहीं की जाएगी।आरडीसी स्थित कैंप कार्यालय पर गुरूवार को नगर आयुक्त ने दोपहर 1बजे मुख्य कर निर्धारण अधिकारी डॉ. संजीव सिन्हा, कविनगर जोनल प्रभारी सुनील राय, सिटी जोन प्रभारी अनिल कुमार अरूण,विजय नगर जोनल प्रभारी विवेक त्रिपाठी, मोहननगर जोनल प्रभारी आरपी सिंह, वसुंधरा जोनल प्रभारी राजवीर सिंह आदि अधिकारी एवं जीआईएस सर्वे करने वाली कंपनी मैसर्स यूनिकॉप्स के प्रबंधकों के साथ बैठक की।

मैसर्स यूनिकॉप्स कंपनी को नगर निगम सीमा क्षेत्र में पुरानी संपत्तियों का मिलान करने और नई संपत्तियों का निर्धारण करते हुए हाउस टैक्स में बढ़ोत्तरी का कार्य करना था।नगर निगम द्वारा फर्म 400205 लाख संपत्तियों का डाटा दिया गया था।इस कंपनी द्वारा जीआईएस सर्वे का कार्य अगस्त-2019 में शुरू कर 3 साल की अवधि में पूरा करना था। मगर चार साल होने के बाद भी कंपनी कार्य पूरा नहीं कर पाई। नगर आयुक्त ने फटकार लगाते हुए फर्म को कारण स्पष्ट करने के निर्देश दिए हैं। कंपनी द्वारा बैठक में अवगत कराया गया कि शहर में 6,47000 लाख संपत्तियों के सर्वे का कार्य पूर्ण कर दिया गया है।इसमें से 2,55000 संपत्तियों का मिलान भी करा दिया गया।यूआईडी नेम प्लेट को भवनों पर लगाने का कार्य कराया जा रहा है।निगम के 100 वार्ड में कुल 40 वार्डों में संपत्तियों का मिलान करा दिया गया है।इसमें कुछ समस्या हैं,जैसे कि लोग नोटिस प्राप्त नहीं करते है।

राजस्व निरीक्षक कंपनी के साथ संपत्तियों का मिलान नहीं करा पाते हैं। इस वजह से कार्य सुचारू रूप से पूरा नहीं हो पाता है। नगर आयुक्त ने मुख्य कर निर्धारण अधिकारी व जोनल प्रभारियों और कंपनी को निर्देशित किया कि आपस में सामजस्य कर संपत्तियों के सर्वे का कार्य किया जाए।कंपनी को सभी पांचों जोन में कम से कम 5-5 कर्मचारी उपलब्ध कराए। जो टैक्स विभाग के कर्मचारियों से समन्वय स्थापित कर कार्य करें।इसकी रोजाना की प्रगति रिपोर्ट एवं कार्य में आने वाली बाधा, सुझाव के लिए एक व्हाट्सऐप गु्रप बनाने के निर्देश दिए। इस पर रोजाना सभी जोनल प्रभारी प्रतिदिन के कार्य की रिपोर्ट भेजेंगे। नगर आयुक्त ने मुख्य कर निर्धारण अधिकारी डॉ.संजीव सिन्हा को निर्देश दिए कि जीआईएस सर्वे कंपनी को सर्वे का कार्य पूरा करने की समयसीमा निर्धारित करते हुए कंपनी को उनके द्वारा कार्य में उदासीनता बरतने पर नोटिस जारी करें।