गाजियाबाद विकास प्राधिकरण ने 16.18 करोड़ में बेचे मधुबन-बापूधाम के भूखंड, दुकान भूखंड

-नीलामी में अब तक बिक चुकी 170 करोड़ रुपए से अधिक की संपत्ति

गाजियाबाद। गाजियाबाद विकास प्राधिकरण (जीडीए) की विभिन्न योजनाओं में रिक्त व्यवसायिक भूखंड, कन्वीनियेंट शॉपिंग भूखंड, दुकान भूखंड, आवासीय भूखंड एवं पेट्रोल पंप आदि के भूखंड को खुली बोली के तहत नीलामी में बेचने के लिए शुक्रवार को नीलामी का आयोजन किया गया। लोहियानगर स्थित हिंदी भवन में सुबह 10 बजे से दो बजे तक जीडीए अपर सचिव सीपी त्रिपाठी की अध्यक्षता एवं ओएसडी सुशील कुमार चौबे,प्रभारी चीफ इंजीनियर मानवेंद्र कुमार सिंह, टाउन प्लानर राजीव रतन शाह, सहायक अभियंता सुरजीत कुमार, सहायक अभियंता विनय कुमार सिंह, प्रभारी सहायक प्रभात चौधरी, लेखाकार योगेंंद्र सिंह आदि की मौजूदगी में नीलामी का आयोजन किया गया।

जीडीए अपर सचिव सीपी त्रिपाठी ने बताया कि नीलामी में मधुबन-बापूधाम योजना के 10 व्यवसायिक व 3 आवासीय भूखंड और यूपी बॉर्डर चिकंबरपुर स्थित एक दुकान का भूखंड समेत 14 भूखंडों को नीलामी में बेचा गया। इन भूखंडों को खरीदने के लिए नीलामी में खरीदारों ने अधिकतम बोली लगाई। नीलामी में यह 14 भूखंड बेचे गए। इससे जीडीए को 16.18 करोड़ रुपए की आय हुई।नीलामी में विभिन्न योजनाओं के करीब 270 भूखंड, भवन, क्योस्क, आवासीय, कमर्शियल भूखंड, पेट्रोल पंप भूखंड आदि संपत्तियों को रखा गया था। नीलामी के दौरान बोलीदारों ने बोली लगाकर मधुबन-बापूधाम योजना के 10 व्यावसायिक व 3 आवासीय भूखंड के अलावा चिकंबरपुर स्थित दुकान का भूखंड खरीदा गया। जीडीए अब तक नीलामी में करीब 170 करोड़ रुपए से अधिक की संपत्ति को बेच चुका हैं।

नीलामी में करीब 20 आवेदकों ने सुबह दस से 12 बजे तक टोकन कटवाएं। इसके बाद सीलबन्द निविदाएं प्राप्त की गईं। नीलामी करीब 12.30 बजे शुरू की गई। नीलामी में बोलीदारों का मधुबन-बापूधाम योजना के व्यवसायिक भूखंडों को खरीदने में सबसे अधिक उत्साह दिखा। बोलीदारों ने व्यवसायिक भूखंडों को लेकर जमकर बोली लगाई। इसके अलावा इंदिरापुरम, स्वर्णजयंतीपुरम,कोयल एन्क्लेव आदि योजनाओं के रिक्त पड़े भूखंड नहीं बिक सके हैं। जीडीए अपर सचिव ने बताया कि जीडीए की मधुबन-बापूधाम योजना की संपत्ति खरीदने के लिए लोगों में रुझान है। हर कोई नीलामी प्रक्रिया में शामिल होकर भूखंड खरीदने का इच्छुक दिख रहा है। सबसे ज्यादा लोग मधुबन-बापूधाम योजना में भूखंड खरीद रहे हैं।