सरकार की निजीकरण की नीति का विरोध, बैंको की हड़ताल

निजीकरण को देश के लिए नुकसान, जनता की जमा पूंजी असुरक्षित: सुनील गोयल

गाजियाबाद। ऑल इंडिया बैंक एंप्लाइज यूनियन के आह्वान पर यूपी बैंक एम्पलाइज एसोसिएशन से जुड़े कर्मचारी अधिकारी सोमवार को हड़ताल पर रहे। एसोएिशन की गाजियाबाद इकाई ने नवयुग मार्किट स्थित बैंक ऑफ इंडिया पर प्रदर्शन किया। बैंकों की इस हड़ताल से जिले में करोड़ों का लेन देन प्रभावित हुआ। मार्च का आखिरी सप्ताह चल रहा है ऐसे में वित्तीय वर्ष की समाप्ति होने के चलते उपभोक्ता भी बड़ी संख्या में बैंकिंग कामकाज के लिए पहुंचते हैं। लेकिन बैंकों की इस हड़ताल के चलते हजारों उपभोक्ताओं के काम काज प्रभावित हुए। दो दिन का पूर्व में ही अवकाश था, जिसकी वजह से करोड़ो रुपए के चेक क्लीरयेंस में अटके हुए थे, लेकिन हड़ताल के चलते बैंकों में चेक क्लीरयेंस का काम भी रूक गया। बैंक कर्मियों ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। निजी करण के विरोध में जोरदार नारे लगाए। आउटसोर्सिंग प्रथा को समाप्त करने की मांग की। हालांकि इस हड़ताल में निजी बैंक और एसबीआई बैंक शामिल नहीं है। इसके अलावा बड़ी संख्या में अन्य बैंकों के शामिल होने से उपभोक्ताओं को खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ा।
एआईबीईए के जिला सचिव सुनील गोयल ने बैंक के निजीकरण को देश के लिए भी नुकसान बताया। कहा कि इससे जनता की जमा पूंजी खतरें में पड़ सकती है। सरकारी बैंक अभी लाभ की स्थिति में है। निजी होते ही ये हानि में बदल जाएंगे। निजीकरण होने से आम लोगों से बैंक की सेवाएं दूर हो सकती हैं।

उन्होंने कहा कि हड़ताल से ग्राहकों को परेशानी हो सकती है, लेकिन यह परेशानी अल्पकालिक है। अगर राष्ट्रीकृत बैंक निजी हाथों में चले गए तो ग्राहकों को सबसे अधिक दिक्कत आएगी। उन्होंने लोगों से भी सहयोग की अपील की है।सरकार की निजीकरण की नीति का विरोध जारी रहेगा। यदि सरकार ने ऐसे ही अडिय़ल रवैया अपनाए रखा तो लड़ाई आर-पार की होगी। सुनील गोयल ने बताया कि चार लेबर कोड, निजीकरण पर रोक, मनरेगा के लिए आवंटन में वृद्घि और शहरी क्षेत्रों में रोजगार गांरटी योजना का विस्तार, आंगनबाड़ी, आशा, योजना वर्कर को न्यूनतम वेतन और सामाजिक सुरक्षा, संविदाकर्मियों को नियमित करना, समान काम, समान वेतन आदि के मुद्दे रखे हैं।

बैंककर्मी निजीकरण के विरोध में लगातार आंदोलन कर रहे हैं लेकिन सरकार उनकी सुनने को तैयार नहीं है। बैंककर्मियों ने बैंकों में कामकाज पूरी तरह से ठप रखा, कई बैंकों में तो शटर तक गिरा दिए गए। हालांकि इस दौरान एटीएम और ऑनलाइन बैंकिंग पर कोई प्रभाव नहीं पड़ा, लेकिन बैंकों में काम न होने से उपभोक्ताओं का हाल बेहाल रहा। प्रदर्शन के दौरान जिलाध्यक्ष सुनील अग्रवाल, जिला कोषाध्यक्ष संजीव चौधरी, उदय प्रजापति, रोहित कुमार, महकार सिंह, उत्कर्ष सिंह आदि बैंककर्मी शामिल रहे।