मलबे का कराए निस्तारण, शहर में बनेंगे सेकेंडरी प्वाइंट: विक्रमादित्य सिंह मलिक

-सी एंड डी वेस्ट के निस्तारण को लेकर नगर आयुक्त ने अभियंताओं की लगाई क्लास

गाजियाबाद। शहर में निर्माण और नए कंस्ट्रक्शन के लिए निकलने वाले मलबे का निस्तारण नहीं हो पाने पर नगर आयुक्त विक्रमादित्य सिंह मलिक ने निर्माण विभाग के इंजीनियरों को जमकर फटकार लगाई। उन्होंने निर्देश दिए कि शहरवासियों को जागरूक करते हुए मलबे का नियमित रूप से निस्तारण कराने की कार्रवाई करें। बुधवार को नगर निगम मुख्यालय स्थित बेसमेंट में नगर आयुक्त विक्रमादित्य सिंह मलिक ने अपर नगर आयुक्त अरुण यादव, अपर नगर आयुक्त अवनींद्र कुमार, चीफ इंजीनियर एनके चौधरी आदि की मौजूदगी में घरों से निकलने वाले मलबे व निर्माण सामग्री वेस्ट को लेकर बैठक की। नगर आयुक्त ने निर्माण विभाग की टीम से कंस्ट्रक्शन एंड ध्वस्तीकरण के मलबे के निस्तारण को लेकर विस्तार से चर्चा की।

उन्होंने अधिशासी अभियंता,अवर अभियंता, टेक्निकल सुपरवाइजरों को जमकर फटकार लगाई। जोनवार सीएंडडी वेस्ट का नियमित रूप से निस्तारण करने के लिए कड़े निर्देश दिए। नगर आयुक्त ने निर्माण विभाग की टीम को निर्देश दिए कि शहर से निकलने वाले सीएंडडी वेस्ट का नियमित निस्तारण किया जाए। उन्होंने जोनवार कार्रवाई शुरू करने के लिए निर्देश दिए। वहीं, वसुंधरा जोन क्षेत्र में सेक्टर-7 वसुंधरा में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में सेकेंडरी प्वाइंट बनाने के निर्देश दिए। शहरवासियों को जागरूक भी करें। नगर निगम के चीफ इंजीनियर एनके चौधरी ने बताया कि नगर आयुक्त के निर्देश पर निर्माण एवं ध्वस्त अपशिष्ट का निस्तारण करने के लिए निर्माण विभाग की टीम कार्रवाई कर रही हैं। आरडब्ल्यूए पदाधिकारियों के सहयोग देने के लिए कहा गया है। इनके सहयोग से शहरवासियों को सीएंडडी वेस्ट के बारे में जागरूक किया जाएगा।

नगर निगम के सभी पांचों जोन में सेकेंडरी पॉइंट भी बनाए जाएंगे। इनमें क्षेत्र का निर्माण का मलबा एकत्र होगा। प्रोसेसिंग यूनिट तक पहुंचेगी। निगम द्वारा संचालित प्रोसेसिंग यूनिट में तकनीकी रूप से वेस्ट का निस्तारण किया जा रहा हैं। 1000 किलोग्राम पर 1200 रुपए शुल्क वसूला जाता है। इसका निस्तारण किया जाता है। नगर आयुक्त ने शहर की एयर क्वालिटी को लेकर निर्माण विभाग को और बेहतर कार्य करने के लिए निर्देश दिए। कंस्ट्रक्शन एंड ध्वस्तीकरण मलबे के निस्तारण की शिकायतों के अधिक से अधिक समाधान प्रतिदिन करें। गाजियाबाद 311 ऐप के माध्यम से भी प्राप्त शिकायतों पर अविलंब कार्रवाई करने के निर्देश दिए। इससे एयर क्वालिटी में भी सुधार होगा तथा वायु प्रदूषण को पूर्णत: समाप्त करने के लिए नगर निगम लगातार प्रयासरत हैं।