मुंबई स्टॉक एक्सचेंज में गाजियाबाद ग्रीन बॉन्ड की हुई लिस्टिंग

– स्वावलंबी बनकर गाजियाबाद नगर निगम ने मार्केट से जुटाए 150 करोड़

नई दिल्ली/गाजियाबाद। स्वावलंबी बनने की दिशा में गाजियाबाद नगर निगम ने जो कदम उठाया है, इसके सकारात्मक परिणाम हमें निकट भविष्य में दिखाई देंगे। हमेशा फंड का रोना रोने वाला नगर निगम अब मार्केट से फंड जुटाकर विकास कार्य कराने की ओर कदम बढ़ा रहा है। विकास के साथ-साथ पर्यावरण को भी ध्यान में रखकर गाजियाबाद नगर निगम ने देश का पहला ग्रीन बॉन्ड जारी किया। 150 करोड़ रुपए का गाजियाबाद ग्रीन बॉन्ड बीएसई के बॉन्ड प्लेटफॉर्म पर गुरुवार को अधिसूचित हो गया। कोरोना संक्रमण की वजह से मुंबई स्टॉक एक्सचेंज में कार्यक्रम न करके दिल्ली के ओबेरॉय होटल में सादा समारोह में बॉन्ड के मुंबई स्टॉक एक्सचेंज में लिस्टिंग की विधिवत घोषणा की गई। कार्यक्रम में भारत सरकार के सड़क, परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय के राज्यमंत्री वीके सिंह, उप्र सरकार के नगर विकास मंत्री आशुतोष टंडन, आवास एवं शहरी विकास मंत्रालय के सचिव दुर्गा शंकर मिश्रा, उप्र सरकार के सलाहकार केशव वर्मा, अपर मुख्य सचिव नगर विकास उप्र रजनीश दुबे, महापौर गाजियाबाद आशा शर्मा, बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज के एमडी एवं सीईओ आशीष कुमार चौहान, वरुण, ए.के. कैपिटल्स, अनुराग कुच्छल, सीनियर वाईस प्रेसिडेंट, म्युनिसिपल कमिश्नर महेंद्र सिंह तंवर आदि उपस्थित रहे। कार्यक्रम का शुभारंभ राष्ट्रगान से किया गया। बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज द्वारा विधिवत गोंग (घंटी) बजाकर गाजियाबाद नगर निगम को बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज पर लिस्ट किया गया। समारोह में केंद्रीय मंत्री वीके सिंह ने कहा कि गाजियाबाद जो पहले गलत कारणों से जाना जाता था वो अब दिन प्रतिदिन विकास के नए आयाम स्थापित कर रहा है। सड़क, परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय भी दिल्ली को विभिन्न शहरों को जोडऩे के लिए जो कार्य कर रहा है उसमें गाजियाबाद एक केंद्र बिंदु बनकर उभर रहा है। नगर विकास मंत्री आशुतोष टंडन ने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मार्ग निर्देशन में उत्तर प्रदेश एक नया इतिहास बना रहा है। एक तरफ कानून व्यवस्था सुदृढ़ हुई है, दूसरी तरफ निवेशकों का भरोसा बढ़ा है। लखनऊ के बाद गाजियाबाद ने अपना म्युनिसिपल बॉन्ड जारी किया है, जिसमें निवेशकों ने जो दिलचस्पी दिखाई है वो काबिले-तारीफ है। आवास एवं शहरी विकास मंत्रालय के सचिव दुर्गा शंकर मिश्रा ने कहा कि उत्तर प्रदेश के शहर अब अन्य राज्यों के विकसित शहरों की श्रेणी में अपना नाम दर्ज करा रहे हैं। म्युनिसिपल बॉन्ड ना केवल बाजार से आपको धनराशि जुटाकर देता है बल्कि आपको स्वालंबी तथा परिपक्व भी बनाता है। महापौर आशा शर्मा ने कहा कि देश का पहला ग्रीन म्युनिसिपल बॉन्ड जारी करना गाजियाबाद के लिए हर्ष का विषय है। बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज के एमडी और सीईओ आशीष कुमार चौहान ने कहा कि बीएसई बॉन्ड प्लेटफॉर्म पर गाजियागाद नगर निगम ने बॉन्ड जारी कर 150 करोड़ रुपए सफलतापूर्वक जुटाए। इस बॉन्ड को लेकर ऑर्डर बुक चंद मिनट में चार गुना से अधिक भर गई, जो गाजियाबाद नगर निगम को भारतीय बॉन्ड बाजार में एक विश्वसनीय इकाई के रूप में स्थापित करती है। म्युनिसिपल कमिश्नर महेंद्र सिंह तंवर ने कहा कि यह एक महत्वपूर्ण अवसर है और पूंजी जुटाने से न केवल वित्तीय अनुशासन लागू होगा, बल्कि निगम को भविष्य में एक बड़ी निधि जुटाने का मौका मिलेगा। यह नगर पालिका बॉन्डों में बाजार के विश्वास और उत्तर प्रदेश राज्य में सुशासन का प्रतिबिंब है। इस धनराशि का उपयोग सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट से शुद्ध किए गए पानी को पाइप लाइन बिछाकर साहिबाबाद औद्योगिक क्षेत्र की इकाईओं को पानी उपलब्ध कराने के लिए किया जाएगा। नगर निगम बीएसई के बॉन्ड प्लेटाफॉर्म का उपयोग कर म्युनिस्पिल बॉन्ड के जरिए 150 करोड़ रुपए जुटाएगा। इसमें 50 करोड़ रुपए के ग्रीन शू विकल्प के साथ बेस इश्यू 100 करोड़ रुपए शामिल है। इस करयोग्य बॉन्ड की कूपन दर 8.1 प्रतिशत प्रतिवर्ष तय की गई थी। इंडिया रेटिंग्स ने इसकी रेंटिंग एए श्रेणी में की थी तथा ब्रिकवर्क्स द्वारा इसकी रेटिंग एए (सीई) की गई है। इसकी 10 साल की परिपक्वता है तथा ऋण मुक्ति के लिए अदायगी चरणबद्ध ढंग से होगी। इसके अलावा नगर निगम को इन बॉन्ड को लाने के लिए भारत सरकार से 19.5 करोड़ रुपये की प्रोत्साहन राशि मिली है।