कानून व्यवस्था खराब, साधुओं की हत्या पर लगे अंकुश: धर्मेंद्र तोमर

-जीडीए, नगर निगम से शिवसेना ने की व्यापारियों का उत्पीडऩ समाप्त करने की मांग

उदय भूमि ब्यूरो
गाजियाबाद। शिव सेना ने प्रदेश में साधु संतों की हत्या पर चिंता जताते हुए कहा है कि ऐसा कृत्य करने वालों को कड़ी सजा मिलनी चाहिए। इसके लिए प्रदेश सरकार को कड़ा कड़े कदम उठाने होगे। यब बातें पार्टी के पश्चिमी उत्तर प्रदेश प्रभारी धर्मेंद्र तोमर ने प्रेसवार्ता के दौरान कही। उन्होंने आरोप लगाया गया कि पश्चिमी उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों में 6 महीनें में 7 साधुओं की हत्या हुई है। प्रदेश में इनकी संख्या सैकड़ों में है। धर्मेद्र तोमर ने कहा कि प्रदेश में कानून व्यवस्था की स्थिति ठीक नहीं है। साधु संत समाज के उपर लगातार हमले हो रहे है। महाराष्ट: में हो रहे हमले को लेकर वहां के मुख्यमंत्री उदधव ठाकरे ने कड़ी कार्रवाई की है। सभी आरोपी जेल में है। लेकिन प्रदेश में स्थिति काफी खराब है। यहां अपराधियों को जेल भेजने के लिए दोहरा मापदंड अपनाया जाता है। विपक्ष में रहने वाले लोगों को आपराधिक मुकदमें दर्ज किए गए है। वहीं सत्ता पक्ष से जुड़े लोगों को आपराधिक सजा नहीं मिल रही। मेरठ में पकड़े गए एनसीआरटी की नकली किताबों का मुख्य आरोपी अभ तक नहीं पकड़ा गया। इसकी वजह से वह भाजपा से ताल्लुकात रखता है। सरकार उद्योगों को लगाने की बात तो करती है। लेकिन जो उद्योग लगे हैं उनको चलाने की कोई योजना नहीं बनाती। जिसके चलते धीरे—धीरे उद्योगों का पहिया थमता जा रहा है। जीडीए और नगर निगम की लापरवाही से भी जिले के अधिकांश उद्योग बंद हो रहे हैं। प्रदेश उपप्रमुख महेश आहूजा ने कहा कि प्रदेश सरकार के साथ जीडीए और नगर निगम स्थानीय व्यवारियों और उद्यमियों का उत्पीडऩ करने में लगी हुई है। इस समय जीडीए द्वारा पूर प्रदेश में सबसे अधिक विकास शुल्क 4 हजार वर्ग मीटर की दर से लिया जा रहा है। पांडव नगर इंडस्ट्रियल एरिया में जीडीए के अधिकारी सील लगा आए लेकिन वहां के लोगों को नक्शा पास कराने और जुर्माना जमा करने का समय नहीं दिया। यह पूरा क्षेत्र औद्योगिक है। पहले इसे यूपीएसआईडीसी अधिग्रहण करना चाह रहा था। बादे में खुद व्यापारियों ने यहां के गड्ढे भरकर वहां उद्योग शुरू किया। लेकिन नगर निगम और जीडीए यहां के उद्यामियों का शोषण कर रही है। इस मौके पर जिला प्रमुख राकेश त्यागी, महेश कुमार आहूजा, महानगर विष्ट विक्रम विष्ट, शशि धामा, पूनम चोहान, नवीन चौधरी उपस्थित थे।